असम में जापानी इंसेफ्लाइटिस के मामले सामने आने के बाद हर्षवर्धन ने एक टीम रवाना की

नईदिल्ली,30 जून (आरएनएस)। केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने असम में हाल ही में रिपोर्ट गए जापानी इंसेफेलाइटिस (जेई) के मामलों को ध्यान में रखते हुए आज राज्य में जापानी एन्सेफलाइटिस (जेई) की स्थिति की समीक्षा करने के लिए एक केंद्रीय दल भेजा है। उन्होंने मंत्रालय को राज्य सरकार को सभी संभव सहायता और मदद करने का निर्देश दिया है। डॉ. हर्षवर्धन ने कहा, मैं स्थिति की करीबी रूप से निगरानी कर रहा हूं। स्वास्थ्य मंत्रालय राज्य में जेई की रोकथाम और प्रबंधन के लिए असम सरकार के साथ समन्वय कर रहा है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि राज्य में जेई के मामले और न बढ़ें।
डॉ. हर्षवर्धन ने यह भी कहा कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय जेई के समाधान के लिए असम सरकार को उसके प्रयासों को मजबूत करने के लिए निगरानी और नैदानिक किट के लिहाज से सभी संभार तंत्र और तकनीकी सहायता प्रदान कर रहा है। यह देखते हुए कि जेई की रोकथाम में सामुदायिक भागीदारी और सशक्तीकरण सबसे महत्वपूर्ण क्षेत्र हैं, डॉ. हर्षवर्धन ने सभी हितधारकों से समुदायों द्वारा उठाए जाने वाले निवारक कदमों के बारे में व्यापक जागरूकता अभियान शुरू करने का आग्रह किया।
केंद्रीय दल का नेतृत्व स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के अपर सचिव संजीव कुमार कर रहे हैं और उनके साथ राष्ट्रीय वेक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम, नई दिल्ली के वरिष्ठ अधिकारी भी हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री के निर्देश के अनुसार स्थिति की समीक्षा करने के लिए टीम आज शाम तक राज्य में पहुंच जाएगी।
जापानी एन्सेफलाइटिस वेक्टर-जनित एन्सेफलाइटिस है जो मच्छरों के क्यूलेक्स समूहों द्वारा पारेषित होता है। ये मच्छर मुख्य रूप से चावल के खेतों और जलीय वनस्पतियों से समृद्ध बड़े जल निकायों में प्रजनन करते हैं। समुदाय में सूअरों के साथ-साथ प्रवासी पक्षी एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्रों में जेई के संचरण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं
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