नौसेना कमांडरों का तीन दिवसीय सम्मेलन 23 से

नईदिल्ली ,21 अपै्रल (आरएनएस)। नौसेना कमांडरों के सम्मेलन 2019 का पहला संस्करण नई दिल्ली में 23 से 25 अप्रैल तक आयोजित किया जाएगा। यह सम्मेलन नौसेना कमांडरों के बीच परस्पर बातचीत के लिए सेना के भीतर शीर्ष फोरम है। कमांडर-इन-चीफ के साथ नौसेना स्टाफ के प्रमुख, पिछले छह महीनों के दौरान किए गए प्रमुख परिचालन, सामग्री, संभार तंत्र, मानव संसाधन, प्रशिक्षण और प्रशासनिक गतिविधियों की समीक्षा करेंगे और आगामी छह महीनों के दौरान संचालित किये जाने वाले कार्यक्रमों पर विचार-विमर्श करेंगे।
यह सम्मेलन पुलवामा से जुड़ी घटनाओं की पृष्ठभूमि में अधिक महत्व रखता है जिसने देश के रक्षा को ध्यान केन्द्र में ला दिया है। यह सम्मेलन उच्च नौसैनिक नेतृत्व को समुद्री क्षेत्र में उभरती चुनौतियों पर चर्चा करने के लिए एक मंच भी प्रदान करेगा और विकसित होते भू रणनीतिक वातावरण पर प्रत्युतर के लिए रणनीतियों को अनुकूल बनायेगा।
माननीय रक्षा मंत्री का उद्घाटन दिवस पर नौसेना कमांडरों को संबोधित करने और उनके साथ बातचीत करने का कार्यक्रम है। यह सम्मेलन वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों के साथ नौसेना कमांडरों के संस्थागत संवाद के लिए एक मंच के रूप में भी कार्य करता है।
सम्मेलन के दौरान भारतीय सेना और भारतीय वायु सेना के प्रमुखों के साथ परस्पर संवाद का उपयोग परिचालनगत पर्यावरण का विश्लेषण करने, तीनों सेनाओं के बीच समन्वय पर विचार करने और देश की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता पर खतरों को रोकने और उन्हे बेअसर करने की तैयारी पर विचार-विमर्श के लिए किया जाएगा।
संचालनगत दक्षता को बेहतर बनाने और ईष्टतम कार्मिक आवश्यकता की दिशा में भारतीय नौसेना के कार्यात्मक पुनर्गठन’ की विषय वस्तु भारतीय नौसेना के लिए दीर्घकालिक रूप रेखा को अंतिम रूप देने के लिए विचार-विमर्श का आधार बनेगी।
नई क्षमता के अधिग्रहण, नौसैनिक युद्ध के क्षेत्रों में समाधान के लिए बिग डेटा एनालिटिक्स और कृत्रिम आसूचना जैसी नई तकनीकों के उपयोग, नेटवर्क/सूचना का अभिसरण, संभार तंत्र, प्रशासन और निरंतर संचालन के लिए उपकरण स्वास्थ्य निगरानी जैसे मुद्दों पर चर्चा करने की योजना बनाई गई है।
किसी भी संकट की स्थिति में आईओआर में नेट सुरक्षा प्रदाता होने और पहली प्रतिक्रिया देने की भारतीय नौसेना से उम्मीदों को ध्यान में रखते हुए, फोरम भारतीय नौसेना द्वारा हाल ही में समाप्त किए गए एचएडीआर संचालन और आईएफसी-आईओआर जैसे विभिन्न अन्य समुद्री सुरक्षा अभियानों से सीखे गए सबक पर भी विचार-विमर्श करेगा।
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