छत्तीसगढ़ उप स्वास्थ्य केन्द्र स्तर पर एनक्यूएएस सर्टिफिकेशन हासिल करने वाला देश का चौथा राज्य

अमलेश्वर और निसदा हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर बने राज्य के पहले एनक्यूएएस सर्टिफाइड उप स्वास्थ्य केंद्र

केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने जारी किया एनक्यूएएस सर्टिफिकेशन

प्रदेश के 57 शासकीय अस्पतालों को अब तक मिल चुका है राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक प्रमाण-पत्र

रायपुर. 27 नवम्बर  (आरएनएस)। छत्तीसगढ़ उप स्वास्थ्य केन्द्र स्तर पर एनक्यूएएस (National Quality Assurance Standard) सर्टिफिकेशन हासिल करने वाला देश का चौथा राज्य बन गया है। केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने दुर्ग जिले के अमलेश्वर और रायपुर जिले के निसदा हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर उप स्वास्थ्य केन्द्र के निरीक्षण और मूल्याकंन के बाद एनक्यूएएस प्रमाण-पत्र जारी किया है। राज्य के 57 शासकीय अस्पतालों को अब तक राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक प्रमाण-पत्र से नवाजा जा चुका है।

केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा सेवाओं के मूल्यांकन में अमलेश्वर हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर उप स्वास्थ्य केंद्र को 94 प्रतिशत और निसदा को 93 प्रतिशत अंक प्राप्त हुए हैं। दोनों ही स्वास्थ्य केंद्रों का इस वर्ष जुलाई में केंद्रीय टीम द्वारा मूल्यांकन किया गया था। हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर उप स्वास्थ्य केन्द्रों का राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक सर्टिफिकेशन 12 मानकों के आधार पर किया जाता है। इसके लिए संस्था द्वारा सेवा प्रदायगी, मरीज संतुष्टि, क्लिनिकल सर्विसेस, इनपुट, संक्रमण नियंत्रण, सपोर्ट सर्विसेस, गुणवत्तापूर्ण प्रबंध, आउटपुट जैसे मानकों की गुणवत्ता का मूल्यांकन किया जाता है। मूल्यांकन में खरा उतरने वाले अस्पतालों को ही केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा गुणवत्ता प्रमाण पत्र जारी किया जाता है।

प्रदेश के कुल 57 अस्पतालों को राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक प्रमाण-पत्र

प्रदेश के कुल 57 अस्पतालों को राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक प्रमाण-पत्र प्राप्त हो चुका है। इनमें दस जिला अस्पताल, सात सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, 26 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र,12 शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और दो उप स्वास्थ्य केंद्र शामिल हैं। राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक सर्टिफिकेशन का उद्देश्य अस्पतालों की सुविधाओं को सुदृढ़ करते हुए आम जनता तक गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधा पहुंचाना है।

Add a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Translate »