रायपुर, 24 जनवरी (आरएनएस)।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल आज रायगढ़ जिले के सारंगढ़ विकासखण्ड के ग्राम-नंदेली में आयोजित अखिल भारतीय रामनामी महासभा बड़े भजन मेला में शामिल हुए। उन्होंने जयस्तंभ की पूजा-अर्चना की। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में सारंगढ़ में 50 बिस्तर अस्पताल निर्माण, कोसीर को उप तहसील बनाने और भडि़सार में जलाशय निर्माण की घोषणा की।
मुख्यमंत्री बघेल ने संत कबीर के दोहे मोको कहां ढूंढे बंदे, मैं तो तेरे पास में- का उल्लेख करते हुए कहा कि रामनामी समाज के लोगों ने अपने शरीर में राम का नाम गुदवाकर कहीं बाहर ईश्वर को खोजने की बजाए उन्हें खुद में स्थापित कर लिया है। उन्होंने कहा कि रामनामी समाज के लोग कठिन साधना करते हैं। पूरे शरीर में राम का नाम गुदवाते हैं। ओढ़नी भी राम नाम की ओढ़ते है । प्रदेश सरकार छत्तीसगढ़ की समृद्ध सांस्कृ-तिक विरासत को संजोने, संवारने व आगे बढ़ाने का कार्य कर रही है। लगभग 135 करोड़ खर्च कर राम वन गमन पथ का निर्माण किया जा रहा है। जिसमें इस वर्ष 9 जगहों को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जा रहा है। मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि सरकार किसानों के लिए लगातार हितकारी निर्णय ले रही है। समर्थन मूल्य में धान खरीदी के लिए सभी आवश्यक इंतजाम किए गए हैं। इस वर्ष अभी तक 86 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी हो चुकी है। धान के सुविधापूर्वक उपार्जन के लिए नयी समितियां व धान खरीदी केंद्र खोले गए हैं। कोरोना के चलते उपजी परिस्थितियों से बारदाने की आपूर्ति प्रभावित हुयी, तो राशन के बारदानों व प्लास्टिक बारदानों के साथ किसानों के बारदाने में खरीदी को स्वीकृति दी गयी ताकि खरीदी प्रभावित न हो। रायगढ़ में स्थित जूट मिल को चालू करने की दिशा में काम किया जा रहा है। जिससे लोगों को रोजगार मिले और बारदानों की होने वाली किल्लत भी दूर की जा सके। राजीव गांधी किसान न्याय योजना के तहत धान उत्पादक किसानों को लगभग 5750 करोड़ रूपए की आदान प्रोत्साहन राशि सीधे उनके खाते में जमा कराई जा रही है। योजना के तहत तीन किश्तों में 4500 करोड़ रूपए दिए जा चुके हैं। चौथी किश्त 31 मार्च के पहले दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था के मजबूती के लिए देश दुनिया में पहली बार गोधन न्याय योजना शुरू की गई। जिसके अंतर्गत दो रूपए किलो में गोबर खरीदी की जा रही है। इससे गौपालकों, किसानों और ग्रामीणों को अतिरिक्त आय का जरिया मिल रहा है। वर्मी कम्पोस्ट के निर्माण से महिलाओं को स्वावलंबन की नयी राह मिली है। पहले लोग धान बेचकर मोटरसाइकिल खरीदते थे , अब गोबर बेचकर ही मोटरसाइकिल खरीद रहे हैं। वर्मी कम्पोस्ट से जैविक खेती को बढ़ावा मिल रहा है। भूमि की उर्वरता बढ़ रही है। फसलों की गुणवत्ता में भी सुधार हो रहा है।