नक्सलियों ने चार ग्रामीणों को उतारा मौत के घाट, दर्जनभर परिवारों ने छोड़ा गांव

बीजापुर, 28 मई। जिले के उसूर थाना क्षेेत्र के पुजारी कांकेर इलाके में करीब डेढ़ माह पहले ग्रे हाउण्ड के हाथों मुठभेड़ में दस माओवादियों के मारे जाने को लेकर नक्सलियों ने मुखबिरी के शक में अब तक चार लोगों की हत्या कर दी है और आधे दर्जन से अधिक ग्रामीणों का अपहरण किया है। इस मसले को लेकर माओवादियों ने कई ग्रामीणों की पिटाई की और कुछ का अपहरण किया, हालांकि कुछ अपहृतों को उन्होंने छोड़ दिया है। दर्जनभर परिवार गांव छोड़कर पलायन कर चुके हैं।
नक्सलियों के भय से ग्रामीणों ने अपहरण व हत्या की शिकायत उसूर थाने में नहीं की है। सूत्रों के मुताबिक नक्सलियों ने 3 मई को मुखबिरी के शक में मारूड़बाका के युवक शंकर पोडिय़ामी की हत्या कर दी और उस पर पुलिस से दो लाख रूपए लेने का आरोप लगाया। चिंगनपल्ली में भी एक युवक की हत्या 17 मई को की गई। गोटलापल्ली के एक ग्रामीण को नक्सलियों ने 28 अपै्रल को मार दिया। इसी दिन पुजारीकांकेर इलाके से लगे तेलंगाना के पुसगुफा गांव के एक ग्रामीण को पुलिस मुखबिरी के शक में मार दिया गया। इस घटना की रिपोर्ट तेलंगाना के चेरला थाने में दर्ज की गई। शव का पोस्टमार्टम चेरला में किया गया और फिर गांव में अंतिम संस्कार किया गया। नड़पल्ली गांव के पापा मुत्ता, इरपा नागेश, गटपल्ली नागेश व काका मल्ला का भी अपहरण किया गया था लेकिन 27 मई को इन्हें नक्सलियों ने मुक्त कर दिया। मारूड़बाका के कड़ती समलू को नक्सलियों ने 21 मई को अगवा कर लिया था। उसे 23 मई को छोड़ दिया गया। 25 मई को माओवादियों ने गलगम के कट्टम मुत्ता, कट्टम दुला, रेंगा मारा व माड़वी मल्ली का अपहरण किया था। इनमें से पहले दुला व रेंगा मारा को छोड़ दिया गया। बाद में महिला माड़वी मल्ली की पिटाई की गई। उसे भी छोड़ दिया गया। खबर है कि रेखापल्ली गांव में भी नक्सलियों ने ताण्डव मचा रखा है।

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