मनरेगा को व्यापक बनाकर बजट की सीमा हटाई जाए: सिंघवी

नई दिल्ली,08 जून (आरएनएस)। कांग्रेस ने सोमवार को नरेंद्र मोदी सरकार से आग्रह किया कि कोरोना वायरस संकट के मद्देनजर महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) को व्यापक बनाया जाए और कुछ महीनों के लिए इसके बजट की सीमा खत्म की जाए।
कांग्रेस पार्टी प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संसद में जिस मनरेगा को ‘कांग्रेस की विफलताओं का जीता-जागता स्मारकÓ कहा था, वही आज संकट के समय देश के लिए मददगार बना है। उन्होंने वीडियो लिंक के माध्यम से संवादददाताओं से बातचीत में सवाल किया कि आखिर मोदी सरकार मनरेगा की सफलता की सच्चाई स्वीकार करने से कतराती क्यों है सिंघवी के मुताबिक कोरोना संकट के बीच मई महीने में 2.19 करोड़ परिवारों ने मनरेगा के तहत काम मांगा है। उन्होंने सरकार से आग्रह किया कि मनरेगा कानून के तहत 100 दिनों के कार्य दिवस को अनिवार्य बनाया गया है। सरकार को हर हालत में इसके न्यूनतम कार्यदिवस की गारंटी सुनिश्चित करनी चाहिए। कांग्रेस नेता ने कहा कि मनरेगा कोरोना महामारी के समय लोगों को बड़ी संख्या में रोजगार उपलब्ध कराने का एक बड़ा माध्यम साबित हुआ है। ऐसे में जब तक कोरोना महामारी है, तब तक के लिए इस योजना से जुड़ी बजट की सीमा हटा दी जानी चाहिए और मांग के आधार पर आवंटन होना चाहिए। सिंघवी ने कहा कि मनरेगा के तहत काम के बारे में निर्णय ग्राम पंचायतें लें, सरकार यह सुनिश्चित करे। प्रदेश और देश की राजधानी से कोई फैसला थोपा नहीं जाए। इसके साथ ही कोरोना महामारी के समय मनरेगा के तहत कार्य दिवस को 200 दिन कर दिया जाए। काम करने की जगह कोरोना वायरस से सुरक्षा का पूरा ध्यान रखा जाए। गौरतलब है कि सरकार ने मौजूदा वित्त वर्ष के लिए बजट में मनरेगा के तहत 60 हजार करोड़ रुपये से अधिक के आवंटन की घोषणा की थी। कोरोना संकट के मद्देनजर कुछ हफ्ते पहले सरकार ने 40 हजार करोड़ रुपये के अतिरिक्त आवंटन की भी घोषणा की।
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