रायपुर, 02 फरवरी(आरएनएस) । निजी विश्वविद्यालय ऐसी शिक्षा प्रदान करे कि यहां से निकलने वाले विद्यार्थी देश के बाहर जाकर भी यह कहें कि छत्तीसगढ़ में शिक्षा प्राप्त की है। कोरोनाकाल में निजी विश्वविद्यालयों ने ऑनलाइन शिक्षा तथा अन्य माध्यमों से विद्यार्थियों को बेहतर शिक्षा देने का प्रयास किया है, यह सराहनीय है। यह बात राज्यपाल सुश्री अनुसुईया उइके ने कल राजभवन के दरबार हॉल में आयोजित छत्तीसगढ़ निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयोग के 16वें स्थापना दिवस समारोह में कही। राज्यपाल सुश्री उइके का नाम आम जनता से मुलाकात करने के लिए वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज किया गया। इस समारोह में गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड संस्था द्वारा राज्यपाल को प्रमाण पत्र भी प्रदान किया। यह सम्मान उन्हें 29 जुलाई 2019 से 06 जनवरी 2021 तक एक राज्यपाल के रूप में 10 हजार 849 लोगों से मुलाकात करने एवं उनकी समस्या सुनने के लिए दिया गया। राज्यपाल को उपस्थित सभी निजी विश्वविद्यालयों ने अभिनंदन पत्र प्रदान कर सम्मान किया। छत्तीसगढ़ निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयोग ने भी राज्यपाल को विशेष अभिनंदन पत्र प्रदान किया। सभी निजी विश्वविद्यालयों ने राज्यपाल के समक्ष उनके द्वारा कोरोना काल में किए गए कार्यों से संबंधित प्रतिवेदन प्रस्तुत किया।
राज्यपाल ने अपने संबोधन में कहा कि उच्च शिक्षा के क्षेत्र गुणवत्ता बनाएं रखें। पहले की अपेक्षा विश्वविद्यालयों की संख्या में बढ़ोत्तरी हुई है परन्तु आवश्यकता है कि मानकों के अनुरूप अपने आप को ढालें तथा यह प्रयास करें कि सभी वर्गों तक उच्च शिक्षा की पहुंच हो। मेरा मानना है कि शिक्षा प्रदान करने का काम सबसे पुण्य का कार्य है। इस क्षेत्र में किसी भी प्रकार की राजनीति नहीं होना चाहिए। शिक्षण संस्थाओं को किसी भी प्रकार की राजनीति से मुक्त रखना चाहिए ताकि विद्यार्थियों की संस्थाओं के प्रति विश्वसनीयता बनी रहे। राज्यपाल ने निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयोग और सभी निजी विश्वविद्यालयों को स्थापना दिवस की बधाई दी। उल्लेखनीय है कि राज्यपाल द्वारा पहली बार राजभवन में सभी निजी विश्वविद्यालयों की बैठक ली गई और समीक्षा की गई। इस बैठक में कुलाधिपति, कुलपति एवं कुल सचिव उपस्थित थे। इस अवसर पर सभी निजी विश्वविद्यालयों ने कहा कि यह पहला अवसर है जब राज्यपाल द्वारा उन्हें राजभवन बुलाकर बैठक ली गई और हमें अपनी बात रखने का मौका दिया। इसके लिए हम सब उन्हें धन्यवाद देते हैं।